मलकोको में संचालित एम्बिशन अकादमी में बड़े ही धूम धाम के साथ मनाया गया शिक्षक दिवस।
मलकोको में संचालित एम्बिशन अकादमी में बड़े ही धूम धाम के साथ मनाया गया शिक्षक दिवस।
मलकोको में संचालित एम्बिशन अकादमी में बड़े ही धूम धाम के साथ मनाया गया शिक्षक दिवस।
संवाददता: शोएब अख्तर
हजारीबाग: बरही प्रखण्ड के मलकोको में संचालित एम्बिशन अकादमी में बड़े ही धूम धाम के साथ मनाया गया शिक्षक दिवस। कार्यक्रम का उद्धघाटन बतौर मुख्य अतिथि पूर्व जीप प्रतिनिधि सह समाज सेवी अब्दुल क़य्यूम ने कैक काटकर किया। वहीं अतिविशिष्ट अतिथि उप मुख्या फ़िरोज़ निज़ामी एवं संस्थान के अज़हर उद्दीन एवं शोयब अख्तर शामिल होकर कार्यक्रम का आगाज किया। कार्यक्रम में अब्दुल क़य्यूम ने शिक्षकों के महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि माँ -बाप तो सिर्फ जन्म देते हैं लेकिन एक महान शिक्षक उसी बच्चे को जीना सिखाता है।
एक शिक्षक ही होते हैं जो एक विद्यार्थी को फर्श से उठाकर अर्श तक पहुंचा देता है। बच्चों को बताया कि हमें अपने शिक्षकों का हर वक्त आदर सत्कार करना चाहिए। कार्यक्रम में जो बच्चे शिक्षा में बेहतर कर रहे हैं उनको सम्मान देकर उनके हौसला अफजाई किया गया। साथ ही उनको आगे बोर्ड में अच्छे अंक से उत्तीर्ण होने के लिए कहा गया। सम्मान समारोह में तरन्नुम प्रवीण, रुकसार प्रवीण, तबस्सुम प्रवीण, नूरजहाँ आदि विद्यर्थियों को बुक देकर सम्मानित किया गया। एम्बिशन अकादमी के संस्थापक अज़हरुद्दीन ने बताया कि एम्बिशन अकादमी जो तकरीबन दो साल से शिक्षा को सींच रहा है। मलकोको गाँव के काफी बच्चों को हर गुणवत्ता वाले शिक्षा को बांट रहा है। और आने वाले भविष्य में हर तरह के शिक्षा को सींचने के हर पहलू पर बात कही गयी। उन्होंने ने बताया कि हमारे गाँव के बच्चों में हर तरह की काबिलियत है बस उन्हें उनके गुणों को परखने की आवश्यकता है। और एक अच्छे शिक्षक अपने हुनर से बच्चों के गुणों को निखार कर उसके भविष्य को उज्ज्वल बनाता है। कार्यक्रम में बच्चों द्वारा शिक्षकों को पट्टा, बुके एवं बैच देकर सम्मानित किया गया।
और शिक्षकों ने उन्हें भविष्य में बेहतर कार्य कर परिवार, समाज, राष्ट्रीय का नाम रौशन करने का आशीर्वाद रूपी उपहार दिया। समारोह में आएशा प्रवीण, नाजिया, फातमा, पम्मी, अंजलि, शबाना, साहिल, आबिद, इब्रान, रुकसार, तथिर, सबीहा एवं सैकड़ों विद्यार्थी, शिक्षक, अभिभावक शामिल होकर कार्यक्रम को सफल सम्पन्न किया।